नमस्कार दोस्तो, आपने अपने जीवन के अंतर अक्सर बगलामुखी मंत्र के बारे में तो जरूर सुना होगा। दोस्तों क्या आप जानते हैं कि बगलामुखी मंत्र के नुकसान क्या क्या होते हैं। यदि आपको इसके बारे में कोई जानकारी नहीं है, तथा आप इसके बारे में जानकारी प्राप्त करना चाहते हैं, तो आज की इस पोस्ट के माध्यम से हम आपको इस विषय के बारे में संपूर्ण जानकारी देने वाले हैं।
इस पोस्ट के माध्यम से हम आपको बताने वाले हैं कि बगलामुखी मंत्र के नुकसान क्या है?, हम आपको इस विषय से जुड़ी लगभग हर एक जानकारी इस पोस्ट के अंतर्गत शेयर करने वाले हैं। तो ऐसे में आज का की यह पोस्ट आपके लिए काफी महत्वपूर्ण होने वाली है, तो इसको अंत जरूर पढ़िए।
बगलामुखी मंत्र प्रयोग क्या है?
भारतीय सनातन धर्म ज्ञान-विज्ञान, तंत्र-मंत्र, भक्ति-शक्ति आदि से परिपूर्ण है। सनातन धर्म या हिंदू शास्त्रों में दस महाविद्याओं का उल्लेख मिलता है। ये दस महाविद्या नाम से ही स्पष्ट है कि इनका अवतरण किसी विशेष प्रयोजन के लिए हुआ है।
हालांकि ये दस महाविद्याएं आदिशक्ति महाकाली दुर्गा का रूप हैं, लेकिन इन दस महाविद्याओं का काम बहुत खास है। इन दस महाविद्याओं में एक बगलामुखी भी है। बगलामुखी महाविद्या महाविद्या का बहुत ही अद्भुत और तांत्रिक रूप है।
वैसे ये सभी दस महाविद्या तांत्रिक रूप में अधिक प्रचलित हैं। अपने शत्रु को खत्म करने के लिए, शत्रु की वाणी को रोकने के लिए, शत्रु को मारने के लिए बगलामुखी मंत्र का प्रयोग किया जाता है जो वास्तव में बहुत जल्द अपना प्रत्यक्ष प्रभाव छोड़ देता है।
बगलामुखी मंत्र के नुकसान क्या होते हैं?
जैसा कि दोस्तों आप सभी लोगों ने अपने जीवन के अंतर्गत बगलामुखी मंत्र के बारे में तो जरूर सुना हुआ होगा। यदि दोस्तों आपको इस विषय के बारे में पता नहीं है कि बगलामुखी मंत्र के क्या-क्या नुकसान होते हैं, तो आपकी जानकारी के लिए मैं बता दूं कि बगलामुखी मंत्र से अनेक नुकसान हो सकते हैं। आपको बगलामुखी मंत्र का इस्तेमाल करते हुए अनेक चीजों के बारे में ध्यान रखना होता है, जिसमें अगर आप इसका इस्तेमाल सही तरीके से नहीं करते हैं, तो आपको कई अलग-अलग प्रकार के नुकसान हो सकते हैं, जिसके बारे में नीचे विस्तार से चर्चा की गई है।
बगलामुखी मंत्र का माल करते समय आपको भोजन से लेकर पहनावे तक सब कुछ ही पीला रखना होता है, इसके अलावा आपको किसी भी प्रकार केक गलत उद्देश्य के पीछे नहीं जाना होता है, या फिर आपके अंदर कोई भी गलत उद्देश्य नहीं होना होता है। अन्यथा आपको कई नुकसान हो सकते हैं जिसके अंतर्गत ही है आपके चरण के लिए काफी हानिकारक होता है, आप तो इसके कई दुष्प्रभाव पड़ सकते हैं, आप पर कोई भी व्यक्ति आ सकती है, आपके मंत्र निष्फल हो सकते हैं, इसके अलावा आपकी साधना भी निष्फल हो सकती है।
तो ऐसे में आपको बगलामुखी मंत्र के समय अनेक बातों का ध्यान रखना चाहिए। वरना तो आपको यह सभी नुकसान हो का सामना करना पड़ सकता है।
बगलामुखी चालीसा
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॥ दोहा ॥
सिर नवाइ बगलामुखी,
लिखूं चालीसा आज ॥
कृपा करहु मोपर सदा,
पूरन हो मम काज ॥
॥ चौपाई ॥
जय जय जय श्री बगला माता ।
आदिशक्ति सब जग की त्राता ॥
बगला सम तब आनन माता ।
एहि ते भयउ नाम विख्याता ॥
शशि ललाट कुण्डल छवि न्यारी ।
असतुति करहिं देव नर-नारी ॥
पीतवसन तन पर तव राजै ।
हाथहिं मुद्गर गदा विराजै ॥॥
तीन नयन गल चम्पक माला ।
अमित तेज प्रकटत है भाला ॥
रत्न-जटित सिंहासन सोहै ।
शोभा निरखि सकल जन मोहै ॥
आसन पीतवर्ण महारानी ।
भक्तन की तुम हो वरदानी ॥
पीताभूषण पीतहिं चंदन ।
सुर नर नाग करत सब वंदन ॥॥
एहि विधि ध्यान हृदय में राखै ।
वेद पुराण संत अस भाखै ॥
अब पूजा विधि करौं प्रकाशा ।
जाके किये होत दुख-नाशा ॥
प्रथमहिं पीत ध्वजा फहरावै ।
पीतवसन देवी पहिरावै ॥
कुंकुम अक्षत मोदक बेसन ।
अबिर गुलाल सुपारी चन्दन ॥ 12 ॥
माल्य हरिद्रा अरु फल पाना ।
सबहिं चढ़इ धरै उर ध्याना ॥
धूप दीप कर्पूर की बाती ।
प्रेम-सहित तब करै आरती ॥
अस्तुति करै हाथ दोउ जोरे ।
पुरवहु मातु मनोरथ मोरे ॥
मातु भगति तब सब सुख खानी ।
करहुं कृपा मोपर जनजानी ॥ 16 ॥
त्रिविध ताप सब दुख नशावहु ।
तिमिर मिटाकर ज्ञान बढ़ावहु ॥
बार-बार मैं बिनवहुं तोहीं ।
अविरल भगति ज्ञान दो मोहीं ॥
पूजनांत में हवन करावै ।
सा नर मनवांछित फल पावै ॥
सर्षप होम करै जो कोई ।
ताके वश सचराचर होई ॥ 20 ॥
तिल तण्डुल संग क्षीर मिरावै ।
भक्ति प्रेम से हवन करावै ॥
दुख दरिद्र व्यापै नहिं सोई ।
निश्चय सुख-सम्पत्ति सब होई ॥
फूल अशोक हवन जो करई ।
ताके गृह सुख-सम्पत्ति भरई ॥
फल सेमर का होम करीजै ।
निश्चय वाको रिपु सब छीजै ॥ 24 ॥
गुग्गुल घृत होमै जो कोई ।
तेहि के वश में राजा होई ॥
गुग्गुल तिल संग होम करावै ।
ताको सकल बंध कट जावै ॥
बीलाक्षर का पाठ जो करहीं ।
बीज मंत्र तुम्हरो उच्चरहीं ॥
एक मास निशि जो कर जापा ।
तेहि कर मिटत सकल संतापा ॥ 28 ॥
घर की शुद्ध भूमि जहं होई ।
साध्का जाप करै तहं सोई ॥
सेइ इच्छित फल निश्चय पावै ।
यामै नहिं कदु संशय लावै ॥
अथवा तीर नदी के जाई ।
साधक जाप करै मन लाई ॥
दस सहस्र जप करै जो कोई ।
सक काज तेहि कर सिधि होई ॥ 32 ॥
जाप करै जो लक्षहिं बारा ।
ताकर होय सुयशविस्तारा ॥
जो तव नाम जपै मन लाई ।
अल्पकाल महं रिपुहिं नसाई ॥
सप्तरात्रि जो पापहिं नामा ।
वाको पूरन हो सब कामा ॥
नव दिन जाप करे जो कोई ।
व्याधि रहित ताकर तन होई ॥ 36 ॥
ध्यान करै जो बन्ध्या नारी ।
पावै पुत्रादिक फल चारी ॥
प्रातः सायं अरु मध्याना ।
धरे ध्यान होवैकल्याना ॥
कहं लगि महिमा कहौं तिहारी ।
नाम सदा शुभ मंगलकारी ॥
पाठ करै जो नित्या चालीसा ।
तेहि पर कृपा करहिं गौरीशा ॥ ॥
॥ दोहा ॥
सन्तशरण को तनय हूं,
कुलपति मिश्र सुनाम ।
हरिद्वार मण्डल बसूं ,
धाम हरिपुर ग्राम ॥
उन्नीस सौ पिचानबे सन् की,
श्रावण शुक्ला मास ।
चालीसा रचना कियौ,
तव चरणन को दास ॥
माँ बगलामुखी आरती
जय जय श्री बगलामुखी माता,
आरती करहूँ तुम्हारी |
जय जय श्री बगलामुखी माता,
आरती करहूँ तुम्हारी |
पीत वसन तन पर तव सोहै,
कुण्डल की छबि न्यारी |
कर कमलों में मुद्गर धारै,
अस्तुति करहिं सकल नर नारी |
जय जय श्री बगलामुखी माता …………
चम्पक माल गले लहरावे,
सुर नर मुनि जय जयति उचारी |
जय जय श्री बगलामुखी माता ……………
त्रिविध ताप मिटि जात सकल सब,
भक्ति सदा तव है सुखकारी |
जय जय श्री बगलामुखी माता …………….
पालन हरत सृजत तुम जग को,
सब जीवन की हो रखवारी ||
जय जय श्री बगलामुखी माता ………..
मोह निशा में भ्रमत सकल जन,
करहु ह्रदय महँ, तुम उजियारी ||
जय जय श्री बगलामुखी माता ………..
तिमिर नशावहू ज्ञान बढ़ावहु,
अम्बे तुमही हो असुरारी |
जय जय श्री बगलामुखी माता ………..
सन्तन को सुख देत सदा ही,
सब जन की तुम प्राण प्यारी ||
जय जय श्री बगलामुखी माता ……….
तव चरणन जो ध्यान लगावै,
ताको हो सब भव – भयहारी |
जय जय श्री बगलामुखी माता ………..
प्रेम सहित जो करहिं आरती,
ते नर मोक्षधाम अधिकारी ||
जय जय श्री बगलामुखी माता ………….
|| दोहा ||
बगलामुखी की आरती, पढ़ै सुनै जो कोय |
विनती कुलपति मिश्र की, सुख सम्पति सब होय ||
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बगलामुखी का जाप करने से क्या होता है?
बगलामुखी मंत्र सभी प्रकार की बाधाओं से मुक्ति दिलाता है, रोगों और दुर्घटनाओं की पुरानी समस्याओं से सुरक्षा और सुरक्षा प्रदान करता है। कहा जाता है कि बगलामुखी मंत्र के नियमित जाप से अहंकार का नाश होता है और शत्रुओं का नाश होता है।
बगलामुखी हवन सामग्री लिस्ट इन हिंदी
बगलामुखी हवन करने में आपको निम्नलिखित सामग्री की जरूरत पड सकती है:-
- काले तिल
- लोभान
- गुग्गुल
- कपूर
- घी
- पीली सरसों
- नमक
- काली मिर्च
- नीम की छाल
आज आपने क्या सीखा
तो आज की इस पोस्ट के माध्यम से हमने आपको बताया कि बगलामुखी मंत्र के नुकसान क्या होते हैं? (baglamukhi mantra side effects), हमने आपको इस पोस्ट के अंतर्गत के विषय से जुड़ी लगभग हर एक जानकारी को देने का प्रयास किया है। इसके अलावा हमने आपके साथ इस पोस्ट के अंतर्गत बगलामुखी मंत्र से जुड़ी अन्य महत्वपूर्ण जानकारियां शेयर की है, जैसे कि बगलामुखी मंत्र से क्या क्या नुकसान हो सकते हैं, तथा आपको इसका इस्तेमाल करते हुए किन किन चीजों का ध्यान में रखना चाहिए, यदि आप उनको ध्यान में नहीं रखते हैं, तो आपको कि नुकसान का सामना करना पड़ सकता है।
आज की इस पोस्ट के माध्यम से हमने आपको इस विषय से जुड़ी लगभग हर एक जानकारी को देने का प्रयास किया है। हमें उम्मीद है कि आपको हमारे द्वारा दी गई यह इंफॉर्मेशन पसंद आई है, तथा आपको इस पोस्ट के माध्यम से कुछ नया जानने को मिला है। इस पोस्ट को सोशल मीडिया के माध्यम से आगे शेयर जरूर करें, तथा इस विषय के बारे में अपनी राय हमें नीचे कमेंट में जरूर बताएं।
FAQ
बगलामुखी जाप कितना करना चाहिए?
1 लाख जप से साको सिद्ध होता है। जप पूर्ण होने के बाद दशांश यज्ञ और दशांश तर्पण भी आवश्यक है। अधिक सिद्धि के लिए 5 लाख मंत्र जाप भी किए जा सकते हैं। मामलों में सफलता और सभी प्रकार की प्रगति के लिए मां बगलामुखी यंत्र को सर्वश्रेष्ठ माना जाता है।
मां बगलामुखी का कौन सा दिन होता है?
बगलामुखी जयंती प्रतिवर्ष वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाई जाती है। इस साल बगलामुखी जयंती 20 मई को मनाई जाएगी। इस दिन मां बगलामुखी की पूजा की जाती है। बगलामुखी जयंती प्रतिवर्ष वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाई जाती है।
मां बगलामुखी के भैरव कौन है?
माता बगलामुखी के भैरव मृत्युंजय हैं। इसलिए साधना के प्रारंभ में महामृत्युंजय की माला और बगला कवच का पाठ करना चाहिए. साधकों को चाहिए कि वे पीले वस्त्र धारण करें और अपनी मनोकामना/संकट से मुक्ति पाने के लिए हल्दी की माला से जाप करें. इस मंत्र का 1100 बार जाप करना चाहिए।
बगलामुखी की पूजा करने से क्या होता है?
मान्यता है कि मां बगलामुखी की पूजा करने से व्यक्ति को सभी प्रकार की समस्याओं से मुक्ति मिलती है, इनकी कृपा से व्यक्ति के जीवन में आने वाले सभी प्रकार के विघ्न दूर हो जाते हैं. साथ ही जातक को कोर्ट-कचहरी के सभी वाद-विवाद में भी सफलता प्राप्त होती है। इतना ही नहीं इस पूजा से राजनीति से जुड़े व्यक्ति को काफी सफलता मिलती है।
क्या मैं घर पर बगलामुखी की पूजा कर सकता हूं?
बगलामुखी मंत्रों का जाप करने का सबसे अच्छा समय सुबह का है। स्नान करने के बाद किसी चटाई या लकड़ी के तख्ते पर बैठ जाएं। एक माला ले जाएं और इसका उपयोग मंत्र जाप गिनने के लिए करें। अपने चुने हुए मंत्र का कितनी भी बार जप करें।
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