नमस्कार दोस्तो, आज के इस आर्टिकल में हम आपके साथ कैबिनेट मिशन से सम्बंधित जानकारी आपके साथ शेयर करेंगे जिसमे कैबिनेट मिशन भारत कब आया तथा कैबिनेट मिशन योजना के अध्यक्ष कौन थे आदि शामिल है। कैबिनेट मिशन का राजनीतिक तथा इतिहास में अत्यधिक महत्व है। अगर आप भी कैबिनेट मिशन से जुड़ी जानकारी प्राप्त करना चाहते है तो आर्टिकल को लास्ट तक जरूर पढ़ना।
कैबिनेट मिशन भारत कब आया था?
ब्रिटेन के प्रधानमंत्री एटली ने वर्ष 1946 में भारत में एक तीन सदस्यीय उच्च-स्तरीय शिष्टमंडल भेजने की घोषणा की थी। इस केबिनेट मिशन में तीन सदस्य लार्ड पैथिक लारेंस (भारत सचिव), सर स्टेफर्ड क्रिप्स (व्यापार बोर्ड के अध्यक्ष) तथा ए. वी. अलेक्जेंडर (एडमिरैलिटी के प्रथम लार्ड या नौसेना मंत्री) आदि शामिल हुए थे। कैबिनेट मिशन को एटली सरकार (ब्रिटिश प्रधान मंत्री) द्वारा भारत भेजा गया जो एक उच्चस्तरीय मिशन था। कैबिनेट मिशन मार्च 1946 में भारत आया था। कैबिनेट मिशन के भारत मे दिल्ली आने के बाद भारत के विभिन्न राजनीतिक दलों से लंबा वार्तालाप हुआ लेकिन लीग और कांग्रेस में भारत की एकता अथवा बंटवारे के विषय में समझौता नही हो पाया इसलिए शिष्टमंडल द्वारा अपनी ओर से संवैधानिक समस्याओं का हल प्रस्तुत किया गया था।
इस प्रस्ताव को लार्ड वेवल और मंत्रिमंडलीय शिष्टमंडल ने एक संयुक्त वक्तव्य के रूप 16 मई 1946 को प्रकाशित किया था। इस मिशन का मुख्य उद्देश्य राष्ट्र के राष्ट्रमंडल में डोमिनियन स्टेटस के तहत भारत को स्वतंत्रता देना था और यह मिशन भारत को स्वतंत्रता देने के लिए भारत आया था। 28 जनवरी 1946 को वायसराय द्वारा विधानसभा में राजनीतिक नेताओं के साथ एक नई कार्यकारी परिषद स्थापित करने और भारत में एक संविधान-निर्माण निकाय बनाने की घोषणा की गई थी।
कैबिनेट मिशन योजना के अध्यक्ष कौन थे?

वर्ष 1946 में भारत आये कैबिनेट मिशन के अध्यक्ष लार्ड पैथिक लारेंस थे। लार्ड पैथिक लारेंस वर्ष 1946 में भारत आये कैबिनेट मिशन के अध्यक्ष तथा सदस्य थे। लार्ड पैथिक लारेंस ने कहा था कि “भारत में गाँधीजी से अच्छा अंग्रेज़ी का लेखक कोई दूसरा नहीं है।” केबिनेट मिशन के अध्यक्ष तथा सदस्य पेथिक लॉरेंस ने यह घोषणा की थी कि अन्तिम उद्देश्य भारत को स्वाधीनता प्रदान करना है। एटली मंत्रिमण्डल के भारतमंत्री की सहायता से पेथिक लॉरेंस ने ब्रिटेन की उस नीति के निर्माण में मुख्य हिस्सा लिया, जिसके कारण 1947 ई. में भारत को स्वंत्रता प्राप्त हुई थी।
निष्कर्ष
आशा है या आर्टिकल आपको बहुत पसंद आया हुआ इस आर्टिकल में हमने बताया (कैबिनेट मिशन भारत कब आया था? | Cabinet Mission Bharat Kab Aaya Tha) के बारे मे संपूर्ण जानकारी देने की कोशिश की है अगर यह जानकारी आपको अच्छी लगे तो आप अपने दोस्तों के साथ भी Share कर सकते हैं अगर आपको कोई भी Question हो तो आप हमें Comment कर सकते हैं हम आपका जवाब देने की कोशिश करेंगे।
FAQ
24 मार्च 1946 को क्या हुआ था?
कैबिनेट मिशन जो 24 मार्च 1946 को आया था। यह मुख्य रूप से राष्ट्रों के राष्ट्रमंडल में डोमिनियन स्टेटस के तहत भारत को स्वतंत्रता प्रदान करने के लिए भारत आया था। 28 जनवरी 1946 को, वायसराय ने विधानसभा में राजनीतिक नेताओं के साथ एक नई कार्यकारी परिषद और भारत में एक संविधान बनाने वाली संस्था की स्थापना की घोषणा की। का।
कैबिनेट मिशन के दौरान भारत का वायसराय कौन था?
कैबिनेट मिशन योजना के समय भारत का वायसराय लॉर्ड वैबेल था।
कैबिनेट मिशन प्लान क्या है?
19 फरवरी 1946 को, ब्रिटिश सरकार ने भारतीयों को सत्ता हस्तांतरित करने के तरीके खोजने के लिए भारत में एक कैबिनेट मिशन भेजने की घोषणा की। 24 मार्च 1946 को कैबिनेट मिशन भारत आया, जिसमें सदस्य पेथिक लॉरेंस, स्टैफोर्ड क्रिप्स और एवी अलेक्जेंडर थे।